आर्थिक अपराध शाखा ने 2397 करोड रुपये के सार्वजनिक धन को हथियाने के आरोप में रेलिगेयर एंटरप्राइजेज लिमिटेड के पूर्व मुख्य कार्यकारी अधिकारी (सीईओ) को रोहिणी से गिरफ्तार किया है।
शाखा के अतिरिक्त पुलिस आयुक्त आर के सिंह ने बताया कि गिरफ्तार आरोपी की पहचान गायत्री अपार्टमेंट रोहिणी सेक्टर नौ निवासी कृष्णन सुब्रमण्यम के रूप में हुई है। वर्ष 2019 में रेलिगेयर फिनवेस्ट लिमिटेड(आरएफएल) के वरिष्ठ प्रबंधक मनप्रीत सिंह सूरी ने प्रमोटर मालविंदर मोहन सिंह, शिविंदर मोहन सिंह, सुनील गोधवानी और अन्य के खिलाफ साजिश कर कंपनी के 2397 करोड रुपये को हथियाने की शिकायत की।
जिसमें बताया कि कथित व्यक्तियों ने बिना वित्तीय कंपनियों को ऋण देकर रेलिगेयर फिनवेस्ट लिमिटेड को खराब वित्तीय स्थिति में डाल दिया। इन कंपनियों ने जान बुझकर पैसे वापस न कर कंपनी को 2397 करोड का नुकसान पहुंचाया। इस बात का खुलासा तब हुआ जब आरबीआई और सेबी ने कंपनियों का ऑडिट किया।
वर्ष 2017-18 के दौरान आरोपी कृष्णन सुब्रमण्यम समूह मुख्य कार्यकारी अधिकारी था। उसने असोला के तीन कंपनियों मेसर्स बेस्ट हेल्थ मैनेजमेंट प्राइवेट लिमिटेड, मेसर्स विटोबा रियल्टर्स प्राइवेट लिमिटेड और देवेरा डेवलपर्स प्राइवेट लिमिटेड को एग्रीमेंट और संपत्ति के दस्तावेजों के तहत 115 करोड रुपये का ऋण स्वीकृत किया। जमीन को आरएफएल के पास सुरक्षा के तौर पर रखा गया।
बाद में इन ऋणों को कॉरपोरेट ऋण बुक पोर्टफोलियो के तहत असुरक्षित ऋणों में परिवर्तित कर दिया गया, क्योंकि इन जमीनों के टाइटल डीड आरएफएल को कभी जमा नहीं किए गए थे। बाद में आरोपियों ने उक्त सुविधा समझौता के तहत आरएफएल के पास रखी गई भूमि के दस्तावेजों को बिना किसी अनुमति के उधारकर्ता कंपनियों को जारी कर दिए। संपत्ति के कागजात को आरोपी कृष्णन सुब्रमण्यम ने जारी किया था।
प्राथमिक जांच के बाद शाखा ने मामला दर्ज कर लिया। जांच के दौरान पर्याप्त आपत्तिजनक दस्तावेज मिलने के बाद पुलिस ने कंपनी के प्रमोटर मालविंदर मोहन सिंह और शिविंदर मोहन सिंह ने साथ साथ मेसर्स रेलिगेयर फिनवेस्ट लिमिटेड में प्रमुख प्रबंधकीय पदों पर रहने वाले तीन लोगों को गिरफ्तार कर लिया।
उनके खिलाफ आरोप पत्र भी दाखिल कर दिया। पुलिस मुख्य कार्यकारी अधिकारी की भूमिका की जांच कर रही थी। फर्जीवाड़ा में मुख्य कार्यकारी अधिकारी के खिलाफ सबूत मिलने पर पुलिस ने 8 दिसंबर को उसे रोहिणी से गिरफ्तार कर लिया। पुलिस पूछताछ कर मामले की जांच में जुटी है।