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नकली जीएसटी बिल की पहचान करने का जानें सबसे आसान तरीका, इनपुट क्रेडिट में मिलेगा फायदा

नई दिल्ली। केंद्र सरकार द्वारा साल 2017 में अप्रत्यक्ष कर प्रणाली को सरल बनाने के लिए गुड्स एंड सर्विस टैक्स (GST) की शुरुआत की थी। GST आने के बाद वैट और सेवा कर जैसे अप्रत्यक्ष करों का खत्म कर दिया गया था।

मौजूदा समय में गुड्स एंड सर्विस टैक्स (GST) को लेकर कुछ धोखाधड़ी की खबरें सामने आ रही हैं। इसमें फर्जी GST बिल से लेन-देन सबसे बड़ी समस्या है। आइए जानते हैं कि नकली GST बिल की पहचान कैसे करें और इसकी शिकायत कहां की जा सकती है।

GST बिल क्या है

जब हम किसी आपूर्तिकर्ता या विक्रेता से कोई माल या सेवा लेते हैं तो उसकी ओर से हमें एक GST बिल दिया जाता है। इस बिल में खरीदार और विक्रेता की पहचान, उत्पाद का नाम, विवरण, खरीदी गई वस्तुओं/सेवाओं की मात्रा/आपूर्तिकर्ता का विवरण, खरीद की तारीख, छूट आदि सहित सभी जानकारियां शामिल होती हैं। ये तो रही GST बिल की जानकारी, अब आपको बताते हैं कि नकली और असली GST बिल के बीच अंतर कैसे किया सकता है।

कैसे पहचानें नकली GST बिल

नकली GST बिल की पहचान करने के लिए आपको कुछ स्टेप्स फॉलो करने की जरूरत होगी। इसके लिए आप बिल पर लिखे invoice number, GSTIN और HSN/SAC कोड की मदद से बिल के असली या नकली होने की पहचान कर सकते हैं। नीचे दिए गए बिंदुओं से पता चल जाएगा कि ये असली है या फिर नहीं।

  • जीएसटी बिल पर लिखे 15 अंको के GSTIN नंबर को GST portal (www.gst.gov.in) पर चेक करें।
  • सप्लायर के वैध नाम और पते का जीएसटी बिल से मिलान करें।
  • ध्यान दें कि GST बिल पर लिखा गया invoice number किसी पुराने बिल से कॉपी तो नहीं किया गया है।
  • ये देखें कि जीएसटी बिल में कर राशि सहित सही चालान मूल्य का उल्लेख है या नहीं।

नकली GST बिल की शिकायत कैसे करें

अगर आप को ऊपर सुझाये गए उपायों से पता लगता है कि क्रेता द्वारा दिया गया GST बिल नकली है तो इसकी शिकायत करें। इसके लिए आप cbecmitra.heldesk@icegate.gov.in पर मेल शेयर कर सकते हैं। वहीं आप सरकार के आधिकारिक ट्वीटर हैंडल @askGST_GoI और @FinMinIndia पर भी अपनी शिकायत दर्ज करा सकते हैं।

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