जिल गौतमबुद्धनगर में एक हजार से अधिक स्थानों पर होगा होलिका दहन, जानिए पूरी खबर
नोएडा। जिले में एक हजार से अधिक स्थानों पर होलिका दहन होगा। शहर से लेकर गांव तक चिन्हित स्थानों पर होली भी रखी जाने लगी है। उधर, संवेदनशील स्थानों पर होलिका दहन कराने को लेकर पुलिस और प्रशासन भी तैयारियों में जुट गया है। अधिकारियों ने इसको लेकर खाका तैयार करना शुरू कर दिया है। जिला प्रशासन की ओर से भी होलिका दहन को लेकर सिटी मजिस्ट्रेट व एसडीएम समेत पुलिस अधिकारियों को अलर्ट रहने की हिदायत दी गई है।
फाल्गुन मास की शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा तिथि को होलिका दहन पर्व मनाया जाएगा। इस बार यह तिथि 17 मार्च है। वहीं धुलेंडी 18 मार्च शुक्रवार को मनाई जाएगी। होली के एक दिन पहले पूर्णिमा तिथि पर होलिका दहन किया जाता है। रंगों का यह उत्सव सभी लोग प्रेम और उत्साह के साथ मनाते हैं। होली से आठ दिन पहले होलाष्टक लग जाते हैं। इस बीच कोई भी शुभ कार्य नहीं किए जाते। बता दें कि विधानसभा चुनाव व मतगणना का कार्य संपन्न कराने के साथ ही अब जिले की पुलिस व प्रशासनिक अफसर होली पर्व को शांतिपूर्ण ढंग से संपन्न कराने व हुड़दंगियों से निपटने की तैयारियों में जुट गया है। प्रशासन के मुताबिक जिलेभर में एक हजार से अधिक स्थानों पर होलिका दहन होता है। इस समय शहर में सेक्टर- 5, 7, 8, 9, 11, 12, सेक्टर-19 सनातन धर्म मंदिर, सेक्टर-52 शिव मंदिर के पास, सेक्टर- 26, 27 समेत ग्रेटर नोएडा, दादरी व जेवर तक विभिन्न स्थानों पर होली रखी जाने लगी है। प्रशासन ने अति संवेदनशील श्रेणी में शुमार ग्रामीण क्षेत्रों में अराजक तत्वों को भी चिह्नित करना शुरू कर दिया है। अफसर व कर्मचारियों को जल्द ही शांतिपूर्ण तरीके से होलिका दहन कराने की जिम्मेदारी भी सौंपी दी जाएगी। शहर में होलिका दहन व पूजन के लिए सबसे ज्यादा श्रद्धालु सेक्टर-19 सनातन धर्म मंदिर पर आते हैं।
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होलिका दहन के लिए एक घंटे दस मिनट का ही मुहूर्त
सेक्टर-22 निवासी पंडित प्रकाश जोशी के अनुसार 17 मार्च को भद्रा दोपहर 1:20 बजे से रात 12:57 बजे तक रहेगी। ऐसे में होलिका दहन का शुभ मुहूर्त रात 9:20 से शुरू होगा और रात 10:31 मिनट तक रहेगा। यानी होलिका दहन के लिए कुल मिलाकर एक घंटा 10 मिनट का समय मिलेगा। दूसरा मुहूर्त रात 12:58 से रात 2:12 बजे तक है। इसके बाद ब्रह्म मुहूर्त शुरू हो जाएगा। वहीं, पूर्णिमा अगले दिन 18 मार्च को दोपहर 12:52 बजे तक रहेगी। ऐसे में उदयातिथि में पूर्णिमा रहने से इसका मान संध्या काल तक रहेगा। प्रतिपदा 19 मार्च को दोपहर 12:13 बजे तक रहेगी
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होलिका के लिए रात्रिकाल जरूरी
ज्योतिष के अनुसार होलिका दहन के लिए रात, भद्रा मुक्त और पूर्णिमा तिथि होना जरूरी है। यह संयोग 17 मार्च की रात एक बजे के बाद है। वहीं 18 मार्च को सुबह उदया में पूर्णिमा मिल रही है, लेकिन रात्रिकाल में प्रतिपदा लग जाएगी। ऐसे में कुछ जगहों पर रंगोत्सव का पर्व 18 मार्च को और वहीं कुछ जगहों पर उदयातिथि में प्रतिपदा का मान लेते हुए 19 मार्च को रंगोत्सव मनाया जाएगा। मथुरा और वृंदावन आदि जगहों पर 19 मार्च को होली खेली जाएगी।
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कोट:
होलिका दहन को परंपरागत ढंग से संपन्न कराने को लेकर तैयारी की जा रही है। अराजक तत्वों पर विशेष निगरानी रखी जाएगी।
– सुहास एलवाई, जिलाधिकारी