जौनसार बावर में दिनभर चटख धूप खिली रहने के साथ गर्मी के प्रकोप से लोग बेहाल रहे। वहीं देर शाम को अचानक मौसम ने करवट बदली। जबरदस्त धूलभरी आंधी ने एकाएक जनजीवन अस्त व्यस्त कर डाला। चकराता में जहां लोग आंधी-तूफान और धूल धक्कड़ से किसी तरह बच निकले, वहीं डांगूठा क्षेत्र में लोगों के घरों के छतों की चद्दरें उड़ गयी। कई घरों की छतों के पलट जाने से ग्रामीण खुले आसमान के नीचे आ गए।
चकराता में शनिवार सुबह से चटक धूप खिली रही, लेकिन देर शाम अचानक मौसम ने करवट ली और तेज धूलभरी आंधी चलने लगी। धूलभरी आंधी व तूफान से बचने के लिए लोगों ने दुकानों और घरों में शरण ली। वहीं त्यूणी ब्लॉक के बावर क्षेत्र में आंधी तुफान से खत शिलगाव कथियान में आधा दर्जन आवासीय मकान क्षतिग्रस्त हो गए। पीड़ित परिवारों ने तहसील प्रशासन को मामले की सूचना दी है। बताया कि छह बजे के बाद अचानक तेज आंधी-तूफान चलने से खत शिलगाव के डांगूठा गांव के कीरतू, सुरेश, सुरेन्द्र, महाबीर सिंह, पूर्व प्रधान राजू, ज्योति लाल के आवासीय मकानों के छत की चादरें व स्लेटें तख्तों के साथ तुफान से उखड़ गईं। वहीं गांव में बना उद्यान विभाग का फल संरक्षण केन्द्र भी तूफान की चपेट में आने से क्षतिग्रस्त हो गया। हनोल व चातरा से भी तीन चार मकानों के तूफान से क्षतिग्रस्त की सूचना है। डांगूठा के ग्रामीण कीरतू, महाबीर, राजू ने बताया कि तेज हवाओं से फलदार फसल आडू, खुमानी, पूलम को भारी नुकसान हुआ है। ग्रामीणों ने तहसील प्रशासन को क्षति से अवगत कराया है। नायब तहसीलदार जितेंद्र सिंह नेगी ने बताया कि गांवों से तूफान की सूचना मिली है। रविवार को क्षेत्र में राजस्व उप निरिक्षकों को भेजकर क्षति का आकलन कर रिपोर्ट देने के निर्देश दिए गए हैं।