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1976 से वानखेड़े में कायम इस बड़े रिकार्ड को 34 साल के बाद मयंक अग्रवाल ने तोड़ा और बन गए नंबर एक भारतीय बल्लेबाज

भारतीय क्रिकेट टीम (Indian Cricket Team) के ओपनर मयंक अग्रवाल (Mayank Agarwal) के लिए शुक्रवार 3 दिसंबर का दिन यादगार रहा. मयंक ने न्यूजीलैंड के खिलाफ मुंबई टेस्ट (Mumbai Test) के पहले दिन एक बेहतरीन शतक जमाया और भारतीय टीम को मुश्किल से बाहर निकाला. टीम इंडिया में अपनी ओपनिंग की जगह फिर से वापस हासिल करने की जद्दोजहद में जुटे मयंक ने इस शतक के साथ फॉर्म में वापसी के भी संकेत दिए. दो साल के इंतजार के बाद पहला शतक जमाने वाले मयंक की इस मामले में मदद की कोच राहुल द्रविड़ (Rahul Dravid) और महान भारतीय ओपनर सुनील गावस्कर (Sunil Gavaskar) ने. द्रविड़ ने तो बतौर कोच अपनी जिम्मेदारी निभाते हुए उन्हें गुरु मंत्र दिया, लेकिन गावस्कर की एक सलाह ने मयंक की किस्मत बदलने में अहम भूमिका निभाई.

इस साल की शुरुआत में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ ब्रिसबेन टेस्ट के बाद टीम इंडिया में अपनी जगह खोने वाले मयंक अग्रवाल को प्लेइंग इलेवन में वापसी का दावा ठोकने के लिए एक अच्छी पारी की जरूरत थी. रोहित शर्मा और केएल राहुल की गैरहाजिरी के कारण उन्हें इस सीरीज में ओपनिंग का मौका मिला. कानपुर में वह नाकाम रहे, लेकिन मुंबई में उन्होंने अपनी पिछली असफलताओं को पीछे छोड़ते हुए पहले दिन ही अहम शतकीय पारी खेली और टीम को उबारने के साथ ही अपने करियर को भी नई ऊर्जा दी.

राहुल द्रविड़ ने दिया गुरु मंत्र

वानखेडे स्टेडियम में शतक जमाने के बाद नाबाद लौटे मयंक ने कहा कि मैच से पहले कोच राहुल द्रविड़ ने उन्हें ऐसा ज्ञान दिया, जिसे उन्होंने अपने दिमाग में बसा दिया और उसके आधार पर ही अपनी पारी खेली. मयंक ने बताया,

“जब मुझे प्लेइंग इलेवन में चुना गया तो राहुल भाई ने मुझसे बात की. उन्होंने मुझसे कहा कि जो मेरे हाथ में है उस पर ध्यान दो और मैदान में उतर कर अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करो. उन्होंने मुझसे कहा था, ‘जब आपको अच्छी शुरुआत मिल जाये तब उसे बड़ी पारी में बदलने की कोशिश करो.’ मुझे जो शुरुआत मिली, उसे भुनाने की खुशी है. लेकिन राहुल भाई की ओर से वह संदेश बिल्कुल साफ था कि मैं इसे यादगार बनाऊं.”

गावस्कर की सलाह और उनका कंधा बना सहारा

सिर्फ द्रविड़ ही नहीं, बल्कि महान बल्लेबाज सुनील गावस्कर ने भी इस भारतीय ओपनर की मदद की. मैच के दौरान कॉमेंट्री कर रहे गावस्कर ने इस बारे में बताया था कि कैसे उन्होंने अग्रवाल को बैक-लिफ्ट (बल्ला पकड़ने की स्थिति) में बदलाव की सलाह दी थी. इस बारे में मयंक ने बाद में बताते हुए कहा,

‘‘उन्होंने मुझसे कहा कि मुझे अपनी पारी में शुरुआत में बल्ले को थोड़ा नीचे रखने पर विचार करना चाहिए. मैं उसे थोड़ा ऊंचा रखता हूं. मैं इतने कम समय में इसमें बदलाव नहीं कर सकता. मैंने उनके वीडियो को देखकर उनके कंधे की स्थिति पर ध्यान दिया.”

मयंक (120 नाबाद) ने ऋद्धिमान साहा (25 नाबाद) के साथ मिलकर पांचवें विकेट के लिए नाबाद 61 रनों की साझेदारी कर भारत को 221 के स्कोर तक पहुंचाया. अब शनिवार को मैच के दूसरे दिन दोनों बल्लेबाज अपनी पारी को आगे बढ़ाएंगे.

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