विश्व तंबाकू निषेध दिवस पर फोर्टिस अस्पताल ग्रेटर नोएडा ने निकाली वॉकाथॉन, लोगों को दिया ये संदेश
ग्रेटर नोएडा: धूम्रपान और तंबाकू के दुष्प्रभावों को उजागर करने और तंबाकू से संबंधित बीमारियों के बारे में जागरूकता बढ़ाने के उद्देश्य से फोर्टिस हॉस्पिटल ग्रेटर नोएडा ने विश्व तंबाकू निषेध दिवस के अवसर पर आज 5 किलोमीटर की वॉकाथन का आयोजन किया. वॉकाथॉन को अस्पताल के गेट नंबर 1 से सुबह 6:30 बजे हरी झंडी दिखाकर रवाना किया गया. ये वॉकाथॉन होंडा क्रॉसिंग और पी3 राउंडअबाउट से होते हुए अस्पताल पर खत्म हुई.
फोर्टिस अस्पताल ग्रेटर नोएडा में पल्मोनोलॉजी के एडिशनल डायरेक्टर डॉक्टर राजेश गुप्ता ने कहा, ‘’ इस विश्व तम्बाकू निषेध दिवस पर, हमें तम्बाकू के सेवन से जुड़े कई जोखिम कारकों के बारे में जागरूक होने की आवश्यकता है. 13 से 15 वर्ष की आयु के 14 मिलियन से अधिक युवा इसका हिस्सा हैं. साथ ही, 15 वर्ष से कम उम्र के कम से कम 500 मिलियन लोग सेकेंड हैंड धुएं के संपर्क में हैं. धूम्रपान छोड़ने और धूम्रपान-मुक्त नीतियां अपनाने से धूम्रपान न करने वाले लोगों के स्वास्थ्य की रक्षा करने में मदद मिलती है. धूम्रपान का असर खांसी और गले में जलन के साथ सांसों की दुर्गंध और कपड़ों से दुर्गंध के साथ शुरू होता है. इससे त्वचा पर धब्बे और दांतों पर निशान हो जाते हैं. तंबाकू के सेवन से हृदय रोग, ब्रोंकाइटिस, निमोनिया, स्ट्रोक और कैंसर हो सकता है. तंबाकू के सेवन से शरीर के अंगों पर भी असर पड़ता है.’’
किसी भी रूप में तंबाकू का सेवन स्वास्थ्य के लिए हानिकारक है लेकिन बदलती जीवनशैली के साथ तंबाकू की लत अपने चरम पर है. डब्ल्यूएचओ के अनुसार, भारत में तंबाकू के कारण एक साल में 10 लाख से मौतें होती हैं. भारत में दुनिया में दूसरा सबसे बड़ा कंज्यूमर है और तम्बाकू उत्पादों का तीसरा सबसे बड़ा उत्पादक है. यहां तम्बाकू उत्पाद बहुत कम कीमतों पर उपलब्ध है, जिससे यह सभी के लिए सुलभ हो जाता है. तंबाकू कितना खतरनाक होता है इस बात का अंदाजा इससे लगाया जा सकता है कि इससे किसी भी उम्र के पुरुष या महिला को कैंसर हो सकता है.
फोर्टिस अस्पताल ग्रेटर नोएडा में फैसिलिटी डायरेक्टर गौरव आनंद ने कहा, ‘’चूंकि कई खतरनाक बीमारियों का मूल कारण तम्बाकू का उपयोग (चबाने के साथ-साथ धूम्रपान के रूप दोनों) है, ऐसे मामलों पर अंकुश लगाने के लिए किसी भी रूप में तम्बाकू की समाप्ति के बारे में जागरूकता बढ़ाने की सख्त आवश्यकता है. तम्बाकू छोड़ना आसान है, लेकिन उसके बाद लंबे समय तक इससे दूर रहना एक चुनौती है. ऐसे में जरूरी है कि प्रशिक्षित लोगों द्वारा तंबाकू की लत को छोड़ने में मदद ली जाए, साथ ही उपलब्ध दवाओं का भी सेवन किया जाए.’’
इस साल विश्व तंबाकू निषेध दिवस, 31 मई का फोकस युवा लोगों की रक्षा करने और उन्हें तंबाकू और निकोटीन के सेवन से बचने में मदद करने पर है. धूम्रपान पर रोक के जरिए अकाल मृत्यु को रोका जा सकता है. इससे कोई फर्क नहीं पड़ता कि आपकी उम्र क्या है या आप कितने समय से धूम्रपान कर रहे हैं, जैसे ही आप धूम्रपान छोड़ते हैं, आपकी सेहत सुधरनी शुरू हो जाती है.