विशेष न्यायाधीश (पोक्सो) एंव जिला सत्र न्यायाधीश अनुज कुमार संगल की अदालत ने नाबालिग से दुष्कर्म करने के दोषी को आजीवन कारवास की सजा के साथ 25 हजार रुपये अर्थदंड की सजा सुनाई है। अर्थदंड की रकम पीड़िता को प्रतिकर के रूप में देने के निर्देश दिये हैं।
विशेष लोक अभियोजक चंद्रवीर सिंह नेगी ने बताया कि 30 मई 2019 को नैनबाग क्षेत्र के एक गांव के विपिन पंवार (32) पुत्र महिपाल सिंह पंवार जो अपने गांव में ही परचून की दुकान चलता है, उसने एक नौ वर्षीय नाबालिग के साथ दुष्कर्म की घटना को अंजाम दिया। घटना के समय नाबालिग के पिता गांव में ही मजदूरी पर गये हुये थे। दोपहर को नाबलिग के पिता जब घर खाना खाने आये तो उनकी बेटी रो रही थी, उन्होंने अपनी पत्नी से पूछा की बेटी क्यों रो रही है तो उनकी पत्नी ने बताया कि गांव में परचून की दुकान चलाने वाले विपिन ने दुकान के पास बने कमरे में उनकी बेटी के साथ दुराचार की घटना को अंजाम दिया है।
नाबालिग के पिता ने उसी दिन थाना कैंपटी में अभियुक्त विपिन के खिलाफ तहरीर दर्ज करवाई। घटना स्थल पर जाकर पुलिस ने अभियुक्त को गिरफ्तार कर गहनता से पूछताछ की और सक्ष्य एकत्रित कर अभियुक्त के खिलाफ पोक्सो ऐक्ट में मुकदमा दर्ज कर उसे जेल भेज दिया। मामले में सीओ स्वप्न किशोर सिंह को जांच अधिकारी नियुक्त किया गया। मेडिकल जांच रिपोर्ट में भी नाबालिग के साथ दुष्कर्म की पुष्टि हुई। विशेष लोक अभियोजक चंद्रवीर नेगी ने मामले में 13 गवाह और 22 सक्ष्य प्रस्तुत कर अभियुक्त के खिलाफ कठोर सजा की मांग की। बुधवार को मामले की सुनवाई करते हुए विशेष न्यायाधीश (पोक्सो) की अदालत ने अभियुक्त को आजीवन कारावास के साथ 25 हजार रुपये अर्थदंड की सजा सुनाई। अर्थदंड की पूरी रकम पीड़िता को प्रतिकर के रूप में देने के निर्देश भी दिये।