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प्रदूषित हवा के कारण तेज़ी से बढ़ रहे हैं COPD के मामले, जान लें लक्षण

पराली, चूल्हे, कोयले और गाड़ियों से निकलने वाला का धुआं और धूल के चलते प्रदूषण का स्तर काफी बढ़ गया है जो लोगों के फेफड़ों को नुकसान पहुंचा रहा है. दीपावली के बाद से हवा की गुणवत्ता और भी ज्यादा खराब हो गई. इसके कारण दिल्ली समेत तमाम शहरों में धुंध सी छा गई है. सांस के जरिए लोग जहरीली हवा निगल रहे हैं.

प्रदूषण के संपर्क में आने से अस्थमा, सीओपीडी आदि सांस के रोगी बढ़ रहे हैं. जो पहले से सांस की बीमारी से ग्रसित हैं, उनके लिए ये स्थिति कहीं ज्यादा घातक है. बता दें कि सीओपीडी यानी क्रॉनिक ऑब्सट्रक्टिव पल्मोनरी डिजीज (Chronic obstructive pulmonary disease) के लक्षण अस्थमा से मिलते हैं, इसलिए लोग इसे अस्थमा समझ बैठते हैं, लेकिन ये अस्थमा से भी ज्यादा खतरनाक है. जानिए इस बीमारी के बारे में.

जानिए कितनी खतरनाक है ये बीमारी

सीओपीडी फेफड़ों की लाइलाज बीमारी है. इस बीमारी में ब्रोन्किअल ट्यूब में सूजन आने के कारण फेफड़ों में बलगम की समस्या शुरू हो जाती है और मरीज को हमेशा खांसी रहती है. ऐसे में सांस लेने में भी परेशानी होती है या सांस छोटी आती है. अगर समय से इसकी पहचान कर इलाज न कराया जाए तो ये अपने पैर पसारती जाती है और धीरे—धीरे अन्य अंगों को भी अपनी चपेट में ले लेती है. इसके कारण व्यक्ति की जान भी खतरे में आ सकती है.

सीओपीडी के कारण

मॉस्कीटो कॉइल, सिगरेट, गांवों में चूल्हे आदि से निकलने वाला धुआं, वायु प्रदूषण, धूल आदि को इस बीमारी के लिए के लिए सबसे ज्यादा जिम्मेदार माना जाता है.

शुरुआत में नहीं दिखते लक्षण

इस बीमारी से जुड़ी सबसे खतरनाक स्थिति ये है कि इसके लक्षण शुरुआत में नहीं दिखते. जैसे जैसे बीमारी गंभीर होने लगती है, इसके लक्षण भी सामने आने लगते हैं. इसके लक्षणों में खांसी, बलगम, सांस लेने में परेशानी, सांस में घरघराहट की आवाज, टांगों व चेहरे पर सूजन, भूख कम लगना और वजन कम होना आदि शामिल हैं.

ये सावधानी अपनाकर करें बचाव

1. धूम्रपान से पूरी तरह परहेज करें. मॉस्कीटो कॉइल के प्रयोग से बचें और किचेन में काम के दौरान एग्जॉस्ट का इस्तेमाल करें.

2. नियमित रूप से प्राणायाम और व्यायाम करें.

3. ज्यादा से ज्यादा लिक्विड चीजों को डाइट में शामिल करें.

4. डॉक्टर द्वारा दी गई दवाओं को नियमित रूप से खाएं.

5. धूल वाले इलाकों या अधिक भीड़भाड़ वाली जगहों पर जानें से परहेज करें.

6. सर्दियों में बहुत सुबह टहलने न जाएं. धुंध के दौरान घर से बाहर निकलने से परहेज करें और अगर निकलना पड़े तो मास्क का इस्तेमाल करें.

7. घास पर नंगे पैर न चलें. एक्सरसाइज घर के अंदर करें. साथ ही प्रदूषण से घर को बचाने के लिए एयर प्यूरीफायर लगवाएं.

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