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उत्तर प्रदेश में फिर से भाजपा सरकार बनने का अनुमान, सपा को लग सकता तगड़ा झटका

लखनऊ: उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव (UP Chunav Result 2022) के सातों चरण पूरे होने के बाद भारतीय जनता पार्टी उत्तर प्रदेश में बहुमत से सरकार बनाती दिख रही है। तमाम यूपी चुनाव एग्जिट पोल (up election exit poll 2022) ने बीजेपी को 225 से 326 के करीब सीट मिलने का दावा कर रहे हैं। हालांकि ज्यादातर एग्जिट पोल में बीजेपी को 245 तक ही सीटें मिल रही हैं। वहीं उत्तर प्रदेश में समाजवादी पार्टी दूसरे नंबर की पार्टी बनकर सामने आई है। लेकिन वह सरकार बना पाने की स्थिति में नजर नहीं आ रही। विपक्षी दलों को अंदाजा था कि लखीमपुर कांड (Lakhimpur kand), तीन कृषि कानून, किसानों की समस्या (Farmer), बेरोजगारी, महंगाई का मुद्दा उन्हें बहुमत की स्थिति में पहुंचा देगा। इसके उल्ट समाजवादी पार्टी अधिकतम 150 सीटों के दायरे तक सिमट गई है। वहीं बहुजन समाज पार्टी (BSP) और कांग्रेस (Congress) की हाल बहुत ही चिंताजनक है, इन दोनों ही दलों को प्रदेश की जनता ने लगभग 20-21 सीटों के अंदर समेट कर रख दिया है।

सर्वे के मुताबिक उत्तर प्रदेश में बीजेपी में ब्राह्मण, राजपूत और ओबीसी का बंपर वोट मिला है। बीजेपी को 65 प्रतिशत ब्राह्मण, 71 प्रतिशत राजपूत और 64 प्रतिशत ओबीसी मतदाताओं का साथ मिला है। दूसरी तरफ समाजवादी पार्टी को 76 प्रतिशत मुस्लिम, 73 प्रतिश यादव मतदाताओं से सपोर्ट मिल पाया। इसी की बदौलत सपा गठबंठन 52 सीटों से बढ़कर 100 के आंकड़ें को पार करती नजर आ रही है। लेकिन अखिलेश यादव ने ओबीसी वोटरों का साधने के लिए जिन स्वामी प्रसाद मौर्य को सपा में शामिल किया था, वो खुद फाजिलनगर सीट से चुनाव हारते दिख रहे हैं। इससे समझा जा सकता है कि क्यों ओबीसी वोट बैंक के नाम पर सपा सिर्फ 23 प्रतिशत वोटरों का ही भरोसा जीत पाई।

कांग्रेस की तमाम कोशिश हो गई बेकार

उत्तर प्रदेश में कांग्रेस कई दशकों से अपना वजूद तलाश रही है। यूपी में विधानसभा चुनाव से कुछ महीने पहले कांग्रेस ने हाथरथ कांड, लखीमपुर कांड और कृषि कानून के जरिए अपनी जमीन मजबूत करने की कोशिश की। प्रियंका गांधी खुद मैदान पर देखी गईं। हालांकि राहुल गांधी की यहां कांग्रेस को कमी खली। लेकिन प्रियंका की तमाम कोशिश के बाद भी कांग्रेस अपनी जगह यूपी में नहीं बना पाई। यूपी चुनाव के सभी सर्वे में कांग्रेस को 1 से 21 सीटें मिलने की उम्मीद जताई गई। टुडेज चाणक्या ने एग्जिट पोल में कांग्रेस को 1 ही सीट दी है। जो कि प्रदेश में फिलहाल उसकी मौजूद 7 सीटों से भी कम है। कांग्रेस की हार का सबसे बड़ा कारण उसका कमजोर काडर ही रहा है, जो कि समय से एक्टिव नहीं दिखा।

बसपा का अतिविश्वास बना घातक

बसपा सुप्रीमो मायावती यूपी में बहुमत की सरकार बनाने का दावा कर रही थीं। लेकिन वह भी कांग्रेस की तरह गलती कर बैठीं। जहां बीजेपी साल के 12 महीने चुनावी मोड में नजर आ रही थी, कांग्रेस भी बसपा की तरह चुनाव से कुछ महीने पहले एक्टिव हुई। मायावती का प्रदेश की जनता से ज्यादातर संपर्क ट्विटर के पोस्ट से हुआ। जिसका असर यह रहा कि पार्टी अपनी वर्तमान 19 सीटों को भी मुश्किल से ही बचाती नजर आ रही है।

बीजेपी ने भी झेल रही नुकसान

उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव एग्जिट पोल 2022 से एक तस्वीर और साफ हो गई है कि भारतीय जनता पार्टी को भी नुकसान का सामना करना पड़ेगा। 2017 में बीजेपी गठबंधन ने 325 सीटों पर जीत दर्ज की थी। लेकिन इस बार उन्नाव रेप कांड, हाथरास कांड, लखीमपुर कांड, किसान, रोजगार और महंगाई का मुद्दा बीजेपी के लिए काफी मुसीबत भरा रहा। केंद्र से लेकर अन्य राज्यों के बीजेपी नेताओं को उत्तर प्रदेश में कैंप करना पड़ा। ताकि वह मतदाताओं का भरोसा वापस पा सके। टाइम्स नाउ वीटो के सर्वे में जो तस्वीर सामने आई है, उसमें बीजेपी गठबंधन को करीब 97 सीटों का नुकसान उठाना पड़ रहा है। सर्वे के मुताबिक 2017 में 325 सीटों पर फतह हासिल करने वाला बीजेपी गठबंधन सारी ताकत लगाकर 225 सीटों पर सिमट गया है। हालांकि इंडिया टुडे एक्सिस ने बीजेपी को 288 से 326 सीटें दी हैं।

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