योगी आदित्यनाथ 2.0 सरकार का पहला फैसला- 15 करोड़ जनता को अगले तीन माह तक मिलता रहेगा मुफ्त राशन
लखनऊ. उत्तर प्रदेश में योगी आदित्यनाथ सरकार (Yogi Sarkar 2.0) के दूसरे कार्यकाल की पहली कैबिनेट बैठक में राज्य के 15 करोड़ लोगों को खुशखबरी दी गई है. इस बैठक में मुफ्त राशन योजना (Free Ration Scheme) को अगले 3 महीनों तक और जारी रखने का फैसला लिया गया है. सीएम योगी आदित्यनाथ ने कैबिनेट बैठक के बाद खुद इस बाबत ऐलान किया.
सीएम योगी आदित्यनाथ (CM Yogi Adityanath) ने अपनी पहली कैबिनेट बैठक के बाद प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा, ‘आज की कैबिनेट बैठक में हमने मुफ्त राशन योजना को अगले तीन महीने तक और बढ़ाने का फैसला किया है. इससे राज्य के 15 करोड़ लोगों को लाभ मिलेगा.’ वहीं यूपी के डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्या ने भी इस संबंध में जानकारी देते हुए बताया कि इस योजना के तहत सरकार 3270 करोड़ रुपये खर्च करेगी.
सीएम योगी आदित्यनाथ ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा, ‘उत्तर प्रदेश में नवगठित सरकार का पहला निर्णय 15 करोड़ गरीब जनता-जनार्दन को समर्पित है. कोरोना काल में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने हर नागरिक को संबल प्रदान करने के उद्देश्य से अन्न योजना प्रारंभ की थी. अप्रैल 2020 से आज मार्च 2022 तक देश की 80 करोड़ जनता को इसका सीधा लाभ मिल रहा है. वहीं राज्य सरकार ने केंद्र सरकार के अतिरिक्त मुफ्त राशन वितरण की योजना संचालित की है.’
सीएम योगी ने कहा कि मुफ्त टेस्ट, ट्रीटमेंट और टीका के प्रयास से कोरोना पर काबू पाया गया तो महामारी से उपजने वाली भुखमरी की समस्या के निदान में मुफ्त राशन की योजना बहुत उपयोगी रही है. अंत्योदय एवं पात्र गृहस्थी कार्ड धारक 15 करोड़ प्रदेशवासी डबल इंजन की सरकार में मुफ्त राशन की डबल डोज प्राप्त कर रहे हैं. इस योजना की अवधि मार्च 2022 में समाप्त हो रही थी, जिस पर विचार करते हुए नई सरकार की पहली कैबिनेट बैठक में इसे अगले तीन माह तक बढ़ाये जाने का फैसला किया गया है. राशन वितरण की पारदर्शी व्यवस्था पर जोर देते हुए उन्होंने बताया कि 80 हजार उचित दर की दुकानों पर ई- पॉश मशीनें लगी हैं, इससे सही लाभार्थी तक राशन वितरण संभव हो रहा है.
मार्च 2022 में खत्म होने वाली थी योजना
यूपी में कोरोना काल के दौरान गरीबों को मुफ्त राशन देने की योजना शुरू की गई थी, जिसे शुरुआत में नवंबर 2021 तक जारी रखना था. हालांकि यूपी के विधानसभा चुनावों और कोरोना वायरल महामारी के कारण लोगों की आमदनी पर पड़े प्रभाव को देखते हुए योगी आदित्यनाथ की पिछली सरकार ने मार्च 2022 के अंत तक इस योजना को जारी रखने का ऐलान किया था.