राष्ट्रीय

शिवलिंग की सुरक्षा को लेकर SC आज करेगा सुनवाई, वाराणसी कोर्ट में भी है कार्यवाही

वाराणसी (Varansi) के विवादित ज्ञानवापी परिसर (Gyanvapi) का सर्वेक्षण आर्कियोलॉजिकल सर्वे ऑफ इंडिया (Archeological Survey of India) से कराए जाने के मामले पर आज इलाहाबाद हाई कोर्ट (Allahabad High Court) में सुनवाई होगी. सुनवाई जस्टिस प्रकाश पांडिया की सिंगल बेंच में दोपहर में शुरू होगी. इस मामले में वाराणसी के ज्ञानवापी परिसर का एएसआई से सर्वेक्षण कराने के निचली अदालत के फैसले को चुनौती दी गई है. एएसआई ने पिछली सुनवाई पर अपना हलफनामा दायर किया था.

ASI ने अपने हलफनामे में क्या कहा है

इस मामले की हाई कोर्ट में 31 अक्तूबर को हुई पिछली सुनवाई पर दायर अपने हलफनामें में एएसआई ने कहा था कि अगर कोर्ट आदेश देगी तो वह विवादित परिसर का सर्वेक्षण कर सच्चाई का पता लगाने की कोशिश करेगी. एएसआई की तरफ से कोर्ट को यह भी जानकारी दी गई थी ज्ञानवापी के विवादित परिसर का उसकी तरफ से इससे पहले कभी कोई सर्वेक्षण नहीं किया गया है. हाईकोर्ट ने एएसआई के हलफनामे पर पक्षकारों को अपना लिखित जवाब दाखिल करने के लिए एक हफ्ते की मोहलत दी थी. इस मामले से जुड़े पक्षकारों को सात नवंबर तक अपना जवाब कोर्ट में दाखिल करना था. सर्वेक्षण को लेकर निचली अदालत से दिए गए आदेश पर इलाहाबाद हाईकोर्ट ने 30 नवंबर तक रोक लगा रखी है.

इस मामले में आज हिंदू पक्ष की तरफ से सुप्रीम कोर्ट के वरिष्ठ वकील सीएस वैद्यनाथन बहस करेंगे. वैद्यनाथन अयोध्या विवाद में हिंदू पक्ष की तरफ से दलीलें पेश कर उसे जीत दिला चुके हैं.

क्या हू पूरा मामला

वाराणसी की जिला अदालत ने पिछले साल विवादित परिसर का सर्वेक्षण आर्कियोलॉजिकल सर्वे ऑफ इंडिया से कराने का आदेश दिया था. इस फैसले को ज्ञानवापी मस्जिद की इंतजामिया कमेटी और यूपी सुन्नी सेंट्रल वक्फ बोर्ड ने इलाहाबाद हाईकोर्ट में चुनौती दी. इलाहाबाद हाईकोर्ट में पिछले साल से ही इस मामले में सुनवाई चल रही है. हाईकोर्ट ने निचली अदालत के आदेश पर रोक लगा रखी है. इसे अब बढ़ाकर 30 नवंबर तक कर दिया गया है.

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