उत्तराखंड के नवनिर्वाचित मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने शनिवार को पूर्व सीएम और कांग्रेस नेता हरीश रावत से मुलाकात की। हरीश रावत निमंत्रण मिलने के बावजूद प्रदेश के मुख्यमंत्री के शपथ ग्रहण समारोह में शामिल नहीं हुए थे।
पुष्कर सिंह धामी ने शनिवार को कांग्रेस नेता के देहरादून में ओल्ड मसूरी रोड स्थित आवास पर पहुंचकर उनसे मुलाकात की। धामी ने पूर्व सीएम के स्वास्थ्य का हाल-चाल भी जाना।
शपथ ग्रहण में नहीं जाने का बताया था कारण
इससे पहले सीएम के शपथ ग्रहण समारोह में हरीश रावत समेत पूरी कांग्रेस से कोई भी विपक्षी नेता शामिल नहीं हुआ था। इसके बाद हरीश रावत ने फेसबुक पर पोस्ट कर बताया था कि उन्हें सम्मान के साथ नहीं बुलाया गया था। अगर ससम्मान बुलाया जाता तो वे कार्यक्रम में जरूर जाते।
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी को टैग करते हुए पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने फेसबुक पर एक पोस्ट साझा की। उन्होंने लिखा कि मुख्यमंत्री के शपथ ग्रहण समारोह में कांग्रेस की अनुपस्थिति को लेकर टिप्पणियां हुई हैं, जो स्वाभाविक हैं। शपथ ग्रहण समारोह से दूरी बनाने का हमारा कोई उद्देश्य नहीं था। उन्होंने फेसबुक पर बधाई भी दी और पूरे शपथ ग्रहण समारोह को अपने मोबाइल फोन पर देखने का जिक्र भी किया।
निमंत्रण पत्र में नहीं बताया गया था कार पार्किंग व बैठने का स्थान
लिखा कि उन्हें जो निमंत्रण पत्र भेजा गया था, उसके साथ कार पार्किंग और बैठने का स्थान तक इंगित नहीं था। वह भी ऐसे समय में जब देश का शीर्षस्थ शासक वर्ग कार्यक्रम में उपस्थित था। ऐसे में यदि वह बिना पूर्व निर्धारित स्थान और बिना कार पार्किंग, प्रवेशद्वार पास इत्यादि के पहुंचते तो स्थिति असहज हो सकती थी। लिखा कि उन्होंने बहुत विचार करने के बाद कार्यक्रम में नहीं जाने का फैसला किया।
हरीश रावत ने कहा कि पिछली बार ऐसा अवसर आया था तो वह गए थे। मंच पर उन्होंने, मुख्यमंत्री, मंत्रियों व भाजपा के नेताओं को बधाई भी दी थी। उनके साथ बैठे भी थे। हरीश ने कहा कि मुख्यमंत्री का शपथ ग्रहण समारोह एक राज्य का महत्वपूर्ण अवसर होता है, उस अवसर पर विपक्ष के नेताओं और पूर्व मुख्यमंत्रियों को सम्मानपूर्वक बुलाया जाना चाहिए। उनको वहां जाना भी चाहिए, राजनीतिक सौहार्द की यह आवश्यकता है।