Delhi Crime: फर्जी दस्तावेजों के आधार पर बांग्लादेशी नागरिक को हांगकांग भेजने वाला एजेंट IGI एयरपोर्ट से गिरफ्तार
नई दिल्ली। विदेश जाने को इच्छुक बांग्लादेशी नागरिकों के लिए फर्जी दस्तावेजों पर पासपोर्ट और वीजा दिलाने के नाम पर ठगी करने वाले एक एजेंट को आईजीआई थाना पुलिस ने गिरफ्तार किया है। आरोपित मूल रूप से त्रिपुरा का रहने वाला है। कामकाज के लिए इसने मुंबई को अपना ठिकाना बना रखा था।
आईजीआई जिला पुलिस उपायुक्त उषा रंगरानी ने बताया कि आरोपित का नाम चाइशी मोग उर्फ चीला मोग उर्फ जस्टिन जॉय है।
दरअसल 11 फरवरी को आईजीआई एयरपोर्ट पर हांगकांग से डिपोर्ट किए गए एओंगचिंग माेग के यात्रा से जुड़े कागजाम पर जब इमिग्रेशन अधिकारी का ध्यान गया तो पाया कि आरोपित बांग्लादेशी नागरिक है। इसने नाम बदल लिया था। इसका असली नाम एनचिंगनु मर्मा पाया गया। पूछताछ में पता चला कि आरोपित ने भारतीय पासपोर्ट का इंतजाम फर्जी दस्तावेजों के जरिए किया था। इमिग्रेशन की शिकायत के आधार पर पुलिस ने आरोपित के खिलाफ धोखाधड़ी और अन्य धाराओं में प्राथमिकी की।
2019 में बांग्लादेश से त्रिपुरा पहुंचा आरोपी
आईजीआई थाना प्रभारी विजेंद्र राणा के नेतृत्व में पुलिस टीम बनाई गई। आरोपित एनचिंगनु मर्मा को गिरफ्तार किया गया। पुलिस ने जब उससे पूछताछ की तो पता चला कि वर्ष 2019 में यह बांग्लादेश से त्रिपुरा में दाखिल हुआ और यहां त्रिपुरा के एक एजेंट चिला मोग उर्फ चाइसी मोग के साथ रहने लगा।
हांगकांग में पकड़ी गई चालाकी
इस दौरान दोनों ने मिलकर फर्जी जन्म प्रमाण पत्र और आधार कार्ड बना लिए। वर्ष 2023 में यह काम की तलाश में पुणे पहुंच गया। यहां एक होटल में यह वेटर की नौकरी करने लगा। इस बीच चीला मोग की मदद से इसने फर्जी पते पर भारतीय पासपोर्ट बना लिया। इसके एवज में चीला मोग ने इससे 70 हजार रुपये लिए। इस पासपोर्ट से यह हांगकांग जा पहुंचा लेकिन वहां इसकी चालाकी पकड़ी गई और उसे डिपोर्ट कर दिया गया।
होटल में कामकाज के दौरान ऐसे लोगों के संपर्क में आया
तमाम जानकारियों के आधार पर पुलिस ने एनचिंगनु मर्मा की मदद करने वाले एजेंट की तलाश शुरू की और उसे पुणे से गिरफ्तार कर लिया। पूछताछ उसने बताया कि वह होटल में कामकाज के दौरान वह ऐसे लोगों के संपर्क में आया, जो फर्जी दस्तावेज बनाकर लाेगों को विदेश भेजते थे। इसके बाद उसने भी ऐसा ही करना शुरू कर दिया।