एटीएस के एडीजी ने घटनास्थल का लिया जायजा, उपद्रव के पीछे पीएफआई से कनेक्शन की तलाश
कानपुर: कानपुर हिंसा पर मुख्यमंत्री ने सख्त रुख अपनाया है। बीते शुक्रवार को दो समुदायों के बीच हुई हिंसक झड़प के बाद स्थिति समान्य है, लेकिन बेकनगंज इलाके में भारी पुलिस बल के साथ पीएसी और आरएएफ को तैनात किया गया है। यतीमखाना से लेकर दादामियां चौराहा और उसके आसपास के क्षेत्रों में सन्नाटा पसरा हुआ है। पुलिस की टीमें हर घंटे मार्च कर रही हैं। कानपुर हिंसा का मास्टरमाइंड और उसके साथियों का पीएफआई कनेक्शन सामने आया है। पीएफआई कनेक्शन सामने के बाद एटीएस की टीम एक्टिव मोड में आ गई है। एटीएस एडीजी नवीन अरोड़ा कानपुर पहुंच चुके हैं। उनके साथ कमांडो का दस्ता भी पहुंचा है।
जौहर फैंस एसोसिएशन के राष्ट्रीय अध्यक्ष और कानपुर हिंसा का मास्टरमाइंड जफर हयात हाशमी समेत चार लोगों को भारी सुरक्षा व्यवस्था के बीच पेश किया गया। इस दौरान कोर्ट परिसर में पुलिस फोर्स और आरएएफ को तैनात किया गया था। कानपुर हिंसा की कड़िया अब एक-दूसरे से जुड़ती हुई नजर आ रही हैं। हिंसा के आरोपियों के रानीतिक संबंध भी सामने आ रहे हैं। राजनीतिक संबंध सामने के बाद कानपुर से लेकर लखनऊ तक राजनीतिक गलियारों में हलचल तेज हो गई है। इसके साथ ही आरोप-प्रत्यारोप का दौर भी शुरू हो गया है।
हिंसा के मास्टरमाइंड का राजनीतिक संबंध
कानपुर हिंसा का मास्टरमाइंड हयात जफर हाशमी का कांग्रेस संबंध सामने आया है। हयात जफर हाशमी के पिता कांग्रेस के नेता रहे हैं। हयात जफर हाशमी ने भी शुरुआती अपनी राजनीति की शुरुआत कांग्रेस से शुरू की थी। कांग्रेस नेताओं से उसके अच्छे संबंध हैं। विधानसभा चुनाव में भी हयात जफर को देखा गया था। जानकारी के मुताबिक, हयात जफर ने पार्टी से दूरी बनाकर जौहर फैंस एसोसिएशन नाम की एनजीओ के लिए काम कर रहा था।
हिंसा के आरोपी निजाम कुरैशी के एसपी से हैं संबंध
कानपुर हिंसा के आरोपी निजाम कुरैशी के भी राजनीतिक संबंध हैं। निजाम कुरैशी एसपी का नगर सचिव था। इसके साथ ही ऑल इंडिया जमीअतुल करैशी ऐक्शन कमेटी का जिलाध्यक्ष भी है। यतीमखाना बवाल में नाम आने के बाद एसपी नगर अध्यक्ष डॉ. इमरान ने पार्टी से बाहर करने के बात कही है।
AIMIM के टिकट पर लोकसभा चुनाव लड़ चुका है एक आरोपी
हयात जफर हाशमी के साथ जावेद खान की भी गिरफ्तारी मुख्य आरोपियों के रूप में हुई है। मौलाना मोहम्मद जौहर अली फैंस एसोसिएशन के चेयरमैन जावेद खान हैं। अब इनका भी सियासी कनेक्शन सामने आया है। जावेद खान के एआईएमआईएम ओवैसी की पार्टी के कानपुर में फाउंडर मेंबर हैं। पूर्व पार्टी के जिलाध्यक्ष भी रह चुके हैं। जावेद खान कानपुर से लोकसभा चुनाव निर्दलीय प्रत्याशी के रूप में लड़ चुके हैं। पुलिस अब पूछताछ कर जानकारियां जुटा रही हैं।
क्या था मामला
कानपुर के यतीमखाने में बीते शुक्रवार को जुमे की नमाज के बाद दो पक्षों के बीच पथराव हो गया। बवाल इतना बढ़ा कि दोनों पक्षों के बीच बम और फायरिंग शुरू हो गई। दरअसल, भाजपा नेता नुपुर शर्मा ने मोहम्मद साहब को लेकर विवादित बयान दिया था। विवादित बयान को लेकर जौहर फैंस एसोसिएशन के अध्यक्ष हयात जफर हाशमी ने जुमे के दिन ही बाजार बंदी का ऐलान किया था। इसके लिए दीवारों पर पोस्टर भी चस्पा किए गए थे, लेकिन कानपुर देहात में राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का कार्यक्रम था। जौहर फैंस एसोसिएशन के अध्यक्ष हयात जफर हाशमी की पत्नी का कहना है कि वीआईपी मूवमेंट होने की वजह से बाजार बंदी के कार्यक्रम को स्थगित कर दिया गया था।
जुमे की नमाज के बाद भीड़ ने जुलूस का रूप ले लिया। भीड़ एक समुदाय की दुकानें बंद कराने लगी। जिसका दूसरे पक्ष ने विरोध किया और देखते-देखते दोनों पक्षों के बीच पथराव शुरू हो गया। पुलिस ने किसी तरह से भीड़ को खदेड़ दिया। इसके बाद उपद्रवी गलियों से पुलिस पर पथराव करने लगे।