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भाई-बहन के रिश्ते में बढ़ेगी मिठास और दोस्ती, अगर अपनाएंगे ये 6 टिप्स

प्रत्येक वर्ष दिवाली के दो दिन बाद भाई दूज का पर्व मनाया जाता है। इस वर्ष भाई दूज 26 अक्तूबर 2022 को मनाई जा रही है। भाई दूज बहन और भाई के अटूट रिश्ते का पर्व है। भाई और बहन एक दूसरे के पहले दोस्त होते हैं। भले ही वह अक्सर लड़ते-झगड़ते हैं लेकिन मुश्किल समय पर हमेशा एक दूसरे के साथ होते हैं। भाई बहन का रिश्ता खट्टा मीठा होता है। पापा से भाई की गलतियों को छुपाना लगभग हर बहन ने कभी न कभी किया होता है, तो वहीं बहन को स्कूल, कॉलेज या दफ्तर छोड़कर आने की जिम्मेदारी भाई पर होती है। लेकिन कई बार बहुत मतभेद, अक्सर होने वाले झगड़े, जाॅब या शादी की वजह से एक दूसरे को वक्त न दे पाने के कारण भाई बहन के रिश्ते में वह मिठास नहीं रहती, जो बचपन के दिनों में थी। ऐसे में भाई-बहन के रिश्ते को हमेशा के लिए मजबूत और स्नेहपूर्ण बनाने के लिए कुछ तरीके हैं, जो हर किसी को अपनाने चाहिए।

ये रहे भाई बहन के रिश्ते में मिठास घोलने के तरीके।

बातचीत है जरूरी

हर भाई बहन के लिए जरूरी है कि वह एक दूसरे के संपर्क में रहें। व्यस्त जीवनशैली और अपने करियर के कारण भाई-बहन एक दूसरे को अधिक वक्त नहीं दे पाते। कई दिनों तक उनके बीच बात नहीं होती। ऐसे में उनके बीच दूरी आने लगती हैं। भले ही भाई बहन में लगाव रहे लेकिन वह एक दूसरे से खुलकर बात नहीं कर पाते और मिलने पर फॉर्मेलिटी करते हैं। इसलिए भाई बहन को एक दूसरे से बात करते रहना चाहिए। दूर हैं तो हफ्ते में एक-दो बार कॉल करके रिश्ते की मिठास को बनाए रखा जा सकता है।

परेशानी में दें साथ

किसी भी रिश्ते के लिए जरूरी है एक दूसरे का साथ देना। भाई और बहन को एक दूसरे का साथ हर सुख दुख में देना चाहिए। बहन-भाई का हक बनता है कि  वह एक दूसरे की मदद करें। बचपन में जैसे आप बाहर के बच्चों से अपने भाई बहन को बचाते थे। भीड़ में एक दूसरे का हाथ पकड़ गुम होने से बचाते थे। उसी भावना को बड़े होने पर भी बरकरार रखें और जरूरत के वक्त एक दूसरे का साथ दें।

खुशियां करें सेलिब्रेट

रिश्ते को गहरा और स्नेहपूर्ण बनाने के लिए एक दूसरे की हर छोटी-बड़ी खुशी को सेलिब्रेट करें। अगर भाई बहन एक दूसरे से दूर हैं तो वीडियो कॉल के जरिए या ऑनलाइन तोहफे भेज कर रिश्ते को खास बना सकते हैं।

बचपन की यादें करें ताजा

अक्सर भाई बहन के बीच जितना जुड़ाव बचपन में होता है, उम्र बढ़ने के साथ उतना स्नेह और जुड़ाव नहीं रहता। इसकी एक वजह आपकी व्यस्तता या उम्र के साथ आपके व्यवहार में बदलाव और प्राथमिकताओं में परिवर्तन हो सकता है। ऐसे में समय समय पर भाई बहनों को एक साथ बैठकर उन पुरानी यादों को, उन किस्सों को फिर से ताजा करना चाहिए। बचपन की यादें रिश्ते में वहीं पुराना स्नेह घोल सकती हैं।

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