उत्तराखंड में बुधवार का दिन आम आदमी पार्टी(आप) के लिए बड़ा झटका लेकर आया। कर्नल अजय कोठियाल (सेवानिवृत्त) ने पार्टी की सदस्यता से इस्तीफा दे दिया। पार्टी आलाकमान ने कोठियाल को उत्तराखंड विधानसभा चुनाव(विस) में मुख्यमंत्री पद का उम्मीदवार बनाया था। उन्होंने गंगोत्री सीट से विधानसभा चुनाव लड़ा था, हालांकि हार का सामना करना पड़ा था। अपने इस्तीफे को लेकर उन्होंने कहा कि त्यागपत्र पूर्व सैनिकों, पूर्व अर्धसैनिकों, बुजुर्गों, महिलाओं, युवाओं और बुद्धिजीवियों की भावनाओं को ध्यान में रखते हुए दिया है। कोठियाल के बाद आम आदमी पार्टी के पूर्व कार्यकारी अध्यक्ष भूपेश उपाध्याय ने भी इस्तीफा दे दिया है।
- नाम – सेवानिवृत्त कर्नल अजय कोठियाल
- जन्म – गुरदासपुर, पैतृक गांव- ग्राम चौंफा, जिला टिहरी गढ़वाल
- वर्तमान में निवास – बसंत विहार देहरादून
- जन्म तिथि – 26 फरवरी, 1968
- शिक्षा – सेंट जोजेफ देहरादून, डीएवी पीजी कॉलेज से स्नातक
- उपलब्धियां – दो बार के एवरेस्ट विजेता, एवरेस्ट अभियान का नेतृत्व किया, केदारनाथ पुनर्निर्माण में सक्रिय भूूमिका, नंदा देवी राजजात 2014 का संचालन, सेना के कई अभियानों को अंजाम दिया, यूथ फाउंडेशन के जरिए युवाओं को जोड़ा।
अजय कोठियाल भोले के फौजी- अरविंद केजरीवाल
दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल अजय कोठियाल को भोले का फौजी बताते थे। आम आदमी पार्टी को कोठियाल और कोठियाल को आम आदमी पार्टी से काफी उम्मीदें थीं। हालांकि विधानसभा चुनाव में आम आदमी पार्टी को हार का सामना करना पड़ा।
17 खूंखार आतंकियों को किया ढेर
अजय कोठियाल ने भारतीय सेना में रहते हुए 17 खूंखार आतंकियों को ढेर किया था। इसके बाद से ही वे चर्चाओं में आए थे। आम आदमी पार्टी ज्वाइन करने के बाद उन्होंने कहा था कि वह एक संस्था के जरिए नगर, कस्बों व गांवों में बेटियों के लिए विशेष प्रशिक्षण शिविर लगाएंगे। किशोरियों/युवतियों को आत्मरक्षा के गुर सिखाएं जाएंगे। विषम परिस्थितियों में वे कैसे अपनी मदद कर सुरक्षित रहे, इसके लिए प्रशिक्षित ट्रेनर के माध्यम से उन्हें ट्रेनिंग दी जाएगी।
कोठियाल के पार्टी छोड़ने पर ‘आप’ पर कितना असर
कोठियाल भारतीय सेना में कर्नल रहे हैं। उत्तराखंड में सैनिक परिवारों की संख्या काफी है। आम आदमी पार्टी भी कोठियाल के इस जुड़ाव को पहाड़ पर सियासत करने के लिए सकारात्मक बिंदु मानती थी। कोठियाल का अपने क्षेत्र के साथ ही कई इलाकों में अच्छा प्रभाव है। जाहिर है कि उनके पार्टी छोड़ने पर ‘आप’ को नुकसान होगा। हालांकि अभी कोठियाल ने अपने भविष्य के पत्ते नहीं खोले हैं।