लखनऊ में जयमाल के बाद ऐसा हुआ तमाशा कि लौट गया दूल्हा, दुल्हन ने फांसी लगाकर दे दी जान
लखनऊ। माल थाना क्षेत्र के नारायणापुर गहदो गांव में रविवार को आई बरात में दूल्हे को उसकी मनपसंद बाइक न मिलने पर उसने बवाल कर दिया। खास बात यह है कि उस समय जयमाल की रस्म भी हो चुकी थी। दूल्हे ने मनपसंद बाइक की जिद की जिसे दे पाने में कन्या पक्ष ने असमर्थता जताई। इतनी सी बात पर दूल्हा वहां से बरात लेकर वापस लौट गया। इस घटना से आहत दुल्हन ने सोमवार रात घर में फांसी लगाकर जान दे दी।
माल के नरायणापुर गहदो निवासी अमित कुमार की भतीजी संध्या की शादी नौबस्ता सलेहनगर निवासी ठाकुरदीन के बेटे अमर बहादुर से तय हुई थी। संध्या के पिता अजय कुमार की मौत हो चुकी है। इसलिए चाचा अमित ने भतीजी की शादी में कोई कमी न रहे, इसका पूरा ख्याल रखा। दहेज के लिए दूल्हे की हर मांग पूरी की। आर्थिक स्थिति ठीक न होने के कारण मांगी गई अपाचे बाइक की जगह स्पलेंडर खरीदी थी। रविवार 15 मई को बरात दरवाजे पहुंची। धूमधाम से बरात का स्वागत किया गया। दूल्हा व उसके दोस्त नाचते-गाते स्टेज पर पहुंचे। वहां जयमाल संपन्न हुआ। इसके बाद दूल्हे की नजर स्टेज से उतरते ही दहेज में मिली बाइक पर पड़ गई तो वह भड़क गया। उसने शादी से इनकार कर दिया। दुल्हन पक्ष के लोग मान-मनौव्वल में जुट गए लेकिन दूल्हा अचानक उठा और अपने रिश्तेदारों के साथ मंडप से निकल गया।
जेवरात न लाने पर हुआ था विवाद
ग्रामीणों के मुताबिक, दूल्हा जहां बाइक के लिए हंगामा कर रहा था। वहीं जैसे ही मंडप में कार्यक्रम शुरू हुआ तो घर की महिलाओं ने जेवरात देख नाराजगी जाहिर की। इस बात पर दूल्हा पक्ष और दुल्हन पक्ष के लोगों में काफी देर तक कहासुनी चलती रही। नाराजगी इतनी बढ़ी कि नौबत हाथापाई तक पहुंच गई। मौका देख दूल्हा और उसके करीबी रिश्तेदार वहां से खिसक गए। दूल्हा पक्ष दुल्हन को जेवरात नहीं देना चाहता था। आरोप है कि बाइक तो सिर्फ बहाना था।
सुबह हुई पंचायत, दूल्हा पक्ष ने लौटाए 82,500 रुपये
ग्रामीणों ने नौबस्ता सालेहनगर में अपने परिचितों के जरिये दूल्हा पक्ष पर दबाव बनाना शुरू किया। देर रात तक बातचीत के बाद सोमवार सुबह इस मामले की पंचायत बुलाई गई। पंचायत में दूल्हा पक्ष के लोगों ने शादी करने से साफ मना कर दिया। अंत में तय हुआ कि दूल्हा पक्ष के लोग रुपये वापस करेंगे। दूल्हा पक्ष के लोगों ने दुल्हन पक्ष को 82,500 रुपये वापस किए।
सबसे बड़ी थी संध्या
चाचा अमित के मुताबिक, उनके भाई अजय की मौत काफी पहले हो चुकी है। तीन भाई-बहनों में सबसे बड़ी संध्या थी। इसकी शादी में कोई कमी न रह जाए, इसके लिए पूरी कोशिश की थी। मां शांति भी इस बात से सहमत थी। संध्या बरात वापस होने का सदमा बर्दाश्त न कर सकी ओर सोमवार देर रात फांसी लगा ली। उसे फंदे से लटका देख परिवारीजन अस्पताल लेकर गए जहां उसे मृत घोषित कर दिया गया। वहीं सूचना पर पहुंची पुलिस ने शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया। पुलिस के मुताबिक, मृतका के परिवारीजनों ने तहरीर नहीं दी है। पोस्टमार्टम रिपोर्ट के आधार पर कार्रवाई की जाएगी।